26 जून 2024

अंतिम समय जब कोई नहीं जायेगा साथ

अंतिम समय जब कोई नहीं जायेगा साथ
एक वृक्ष जाएगा
अपनी गौरैयों-गिलहरियों से बिछुड़कर
साथ जाएगा एक वृक्ष

अग्नि में प्रवेश करेगा वही मुझ से पहले
"कितनी लकड़ी लगेगी"
शमशान की टालवाला पूछेगा
ग़रीब से ग़रीब भी सात मन तो लेता ही है

लिखता हूं अंतिम इच्छाओं में
कि बिजली के दाहघर में हो मेरा संस्कार
ताकि मेरे बाद
एक बेटे और एक बेटी के साथ
एक वृक्ष भी बचा रहे संसार में।

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